Getting your Trinity Audio player ready...
|
विवेक कुमार जैन
आगरा:11 अप्रैल।
वैदिक सूत्रम चेयरमैन विश्वविख्यात ख्याति प्राप्त ज्योतिषी पंडित प्रमोद गौतम ने टैगोर नगर जैन मंदिर के सामने दयालबाग आगरा स्थित संस्था के कैम्प कार्यालय पर वैदिक सूत्रम के बाईसवें स्थापना दिवस पर छाया ग्रह राहु के सन्दर्भ में बताते हुए कहा कि वैदिक हिन्दू ज्योतिष शास्त्र में राहु को मायावी ग्रह माना जाता है। इस मायावी छाया ग्रह का जीवन में अचानक अप्रत्याशित रूप से घटित होने वाली घटनाओं से संबंध होता है। राहु को कुछ बंधन तो कुछ भ्रम का ग्रह भी कहा जाता है। एक बार फिर 12 अप्रैल 2022 को चाण्डाल छाया ग्रह राहु डेढ़ वर्ष बाद वक्री अवस्था में अपनी राशि बदलने के लिए तैयार है। जब छाया ग्रह राहु राशि बदलता है तो कुछ बड़ा घटित होता है। अलग-अलग राशियों पर इसका अलग प्रभाव पड़ता है। 12 अप्रैल 2022 को राहु का राशि परिवर्तन डेढ़ वर्ष के लिए मेष राशि पर होगा।
एस्ट्रोलॉजर पंडित प्रमोद गौतम ने बताया कि 12 अप्रैल 2022 से चाण्डाल छाया ग्रह राहु की डेढ़ वर्ष के लिए मेष राशि पर गोचरीय परवर्तित चाल सबसे ज्यादा अशुभ प्रभाव वृष एवम कन्या राशि के जातकों को प्रदान करेगी अर्थात ऐसे व्यक्तियों को असामान्य स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्याओं और अचानक दुर्घटना का सामना भी करना पड़ सकता है इसलिए उपरोक्त दोनों राशियों के व्यक्ति 12 अप्रैल 2022 से स्वास्थ्य एवम वाहन चलाने में विशेष सावधानी बरतें।
दूसरी तरफ उपरोक्त दोनों राशियों वृष एवम कन्या राशि पर 13 अप्रैल 2022 से आने वाले वाले एक वर्ष तक ब्रह्माण्ड के अति शुभ ग्रह देवगुरू ब्रह्स्पति ग्रह की सम्पूर्ण कृपा रहेगी। लेकिन इसके साथ-साथ चाण्डाल छाया ग्रह राहु का अशुभ प्रभाव भी वृष एवम कन्या राशि के व्यक्तियों को असामान्य विपरीत परिस्थितियों में भी डाल सकता है। इसलिए वृष एवम कन्या राशि के व्यक्ति अपनी वाणी का भी इस दौरान सही इस्तेमाल करें अर्थात 12 अप्रैल 2022 से लेकर आने वाले डेढ वर्ष तक। क्योंकि वाणी का गलत इस्तेमाल वृष एवम कन्या राशि के व्यक्तियों को उनके गुप्त शत्रुओं की संख्या में बढोत्तरी कर सकता है।
पंडित प्रमोद गौतम ने 12 अप्रैल से चाण्डाल छाया ग्रह राहु का प्रभाव किन राशियों पर ज्यादा प्रभाव पड़ेगा इस सन्दर्भ में मुख्य राशियों के सन्दर्भ में बताते हुए कहा कि 12 अप्रैल से मेष राशि में गोचरीय परवर्तित चाल में राहु का आना कुछ मामलों में मेष राशियों के व्यक्तियों को भी नकारात्मक फल दे सकता है। इसलिए मेष राशि के लोगों को सावधानी बरतनी होगी, इस दौरान मेष राशि के व्यक्तियों को अपने गुस्से पर कंट्रोल करना होगा, साथ ही खुद को गलत काम करने से रोकना भी होगा। इस दौरान आपके पैसों का नुकसान भी हो सकता है। क्योंकि 13 अप्रैल 2022 से ब्रह्माण्ड के अति शुभ ग्रह देवगुरू ब्रह्स्पति गोचरीय परवर्तित चाल में मेष राशि से बारहवें भाव भाव अर्थात अशुभ भाव में एक वर्ष तक विचरण करेंगे।
पंडित गौतम ने बताया कि 12 अप्रैल से तुला राशि वालों को भी राहु के परवर्तित गोचर से सावधान रहना होगा। क्योंकि इस राशि में केतु विराजमान होंगे वहीं इस राशि के सातवें भाव से राहु की नजर पूर्ण रूप से बनी रहेगी। इसलिए अचानक आपकी परेशानियां बढ़ सकती हैं। छोटे मुकाम को हासिल करने के लिए भी आपको कड़ी मेहनत करनी होगी। आपको अपने स्वास्थ्य का ध्यान भी रखना होगा। इस दौरान धनहानि भी हो सकती है।
इसके अलावा 12 अप्रैल से मकर राशि वालों को राहु का गोचर परिवर्तन परेशान कर सकता है। मकर राशि के व्यक्तियों के कार्यों में बाधा हो सकती है, घर में उथलपुथल का वातावरण पैदा हो सकता है और वाणी से से अपशब्द भी निकल सकते हैं। क्रोध की अधिकता भी बढ़ सकती है, वहीं आपके बॉस भी आपसे नाराज हो सकते हैं। गुप्त शत्रु का खतरा भी बना हुआ रह सकता है। इस दौरान मकर राशि के व्यक्तियों को व्यर्थ के खर्चों से बचना होगा।
वैदिक सूत्रम चेयरमैन पंडित प्रमोद गौतम ने बताया कि दूसरी तरफ 12 अप्रैल 2022 से चाण्डाल छाया ग्रह राहु का डेढ़ वर्ष के लिए मेष राशि पर गोचर परिवर्तन सिंह, वृश्चिक, धनु और कुंभ राशि वालों के लिए राहु का गोचरीय परिवर्तन शुभ फल प्रदान करने वाला साबित होगा। इन लोगों को धन लाभ होगा और मान-सम्मान भी बढ़ेगा। मिथुन और मीन राशि वालों पर इस गोचर का कोई असर नहीं होगा।